हत्या के मामलों में कमी आई, साइबर क्राइम बढ़ा

पुणे पुलिस द्वारा जारी वार्षिक रिपोर्ट के आंकड़ों में हुआ खुलासा

    24-Jan-2025
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पुणे, 23 जनवरी (आज का आनंद न्यूज नेटवर्क)
 
शहर में पिछले वर्षभर में विभिन्न पुलिस थानों में दर्ज अपराधों में हत्या और हत्या के प्रयास जैसे गंभीर अपराधों में कमी आई है. लेकिन साइबर और आर्थिक धोखाधड़ी की घटनाओं में बड़ी वृद्धि हुई है, ऐसा पुणे पुलिस के आंकड़ों से पता चला है. पुणे पुलिस की तरफ से शहर में गंभीर अपराधों का वार्षिक समीक्षा गुरुवार (23 जनवरी) को जारी की गई. इस अवसर पर पुलिस आयुक्त अमितेश कुमार ने इस बारे में जानकारी दी. 2024 में शहर में 93 हत्याएं हुईं, जिनमें से 14 हत्याएं पिछले वर्ष जनवरी महीने में हुई थीं. 2023 में शहर में 101 हत्याएं हुई थीं. इससे पहले 2022 में 105 और 2021 में 100 हत्याएं हुई थीं. 2024 में हत्या के प्रयास के मामलों में 186 अपराध दर्ज किए गए थे. इससे पहले 2023 में 244, 2022 में 342 और 2021 में 298 अपराध हत्या के प्रयास के मामले में शहर के विभिन्न पुलिस थानों में दर्ज किए गए थे. 2023 में हत्या के प्रयास के मामले में 244 अपराध दर्ज हुए थे. 2024 में हत्या के प्रयास के मामले में 244 अपराध दर्ज किए गए थे. 2024 में गंभीर चोट के अपराधों में वृद्धि हुई. गंभीर चोट के मामलों में 1535 अपराध दर्ज किए गए थे. 2023 में 1390 अपराध दर्ज हुए थे. आतंक पैदा करके चोट पहुंचाने वाले अपराधियों के खिलाफ तात्कालिक अपराध दर्ज करने के आदेश दिए गए हैं, जिससे चोट के अपराधों में वृद्धि हुई है. 2023 की तुलना में हत्या की घटनाओं में 9 प्रतिशत की कमी और हत्या के प्रयास की घटनाओं में 24 प्रतिशत की कमी आई है, जबकि घर में चोरी के अपराधों में भी 13 प्रतिशत की कमी देखने को मिली है. शहर का यातायात सुधारने के लिए विशेष प्रयास किए जा रहे महापालिका के साथ समन्वय बनाए रखते हुए शहर में यातायात सुधारने के लिए विशेष प्रयास किए जा रहे हैं. इसमें सफलता भी मिल रही है. शहर में आईटीएमएस प्रणाली के तहत 600 चौराहों पर कैमरे लगाए जाने वाले हैं. निजी संस्थानों के कैमरे भी इससे जोड़े जाने वाले हैं. शहर के सार्वजनिक स्थलों का यातायात नियंत्रण करने के साथ-साथ आपराधिक प्रवृत्तियों पर नजर रखने और जांच में भी इस प्रणाली का उपयोग होगा.
 
1200 पीड़ित महिलाओं को पुलिस का सहारा
 
 
शहर में महिलाओं के खिलाफ अत्याचार के अपराधों में वृद्धि हुई है. महिलाओं के खिलाफ अत्याचार के अपराधों को प्राथमिकता से दर्ज करने का आदेश सभी पुलिस थानों के प्रमुखों को दिया गया है. इससे पहले अपराध दर्ज होने की संख्या कम होने की जानकारी कई बार सामने आई है. विशेष रूप से स्कूल की लड़कियों के साथ छेड़छाड़ के विषय में परामर्श दिया जा रहा है. इससे बच्चों के खिलाफ अत्याचार के अपराधों की संख्या बढ़ रही है. अत्याचार के मामलों में 1200 पीड़ित महिलाओं को सहायता देने के लिए पुलिस का भरोसेमंद सेल उनके संपर्क में है. पीड़ित महिलाओं को आरोपियों द्वारा परेशान तो नहीं किया जा रहा, और उन पर कोई दबाव तो नहीं डाला जा रहा है, इसकी भी जानकारी लेने के निर्देश पुलिस आयुक्त ने जांच अधिकारियों को दिए हैं.
 
साइबर अपराधों की जांच में तेजी लाने हेतु प्रयासरत
 
साइबर अपराधों की जांच तेजी से हो इसके लिए पुलिस प्रयासरत है. इसके लिए साइबर लैब स्थापित करने के लिए राज्य सरकार से कहा जा रहा है. पुलिस कर्मचारियों को भी प्रशिक्षण दिया जाएगा. साइबर अपराधों की संख्या और पुलिस की संख्या को देखते हुए गंभीरता के अनुसार अपराधों पर नियंत्रण करने को प्राथमिकता दी जाएगी.
 
- अमितेश कुमार, पुलिस आयुक्त.