आयुर्वेद जैसी पारंपरिक ज्ञानशाखाओं के पुनरुद्धार के लिए प्रयास हो

वैद्य खड़ीवाले अनुसंधान संस्था द्वारा पुरस्कार वितरण कार्यक्रम में राज्यसभा सांसद डॉ. मेधा कुलकर्णी ने कहा

    19-Feb-2025
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एरंडवणे, 18 फरवरी (आज का आनंद न्यूज नेटवर्क)
 
हमारी आयुर्वेद जैसे पारंपरिक ज्ञानशाखाओं के पुनरुद्धार के लिए हमें स्वयं प्रयास करने चाहिए. इसके लिए पहल करके इसे वैेिशक स्तर पर मार्केटिंग करना आवश्यक है, ऐसे विचार राज्यसभा सांसद प्रो. डॉ. मेधा कुलकर्णी ने रखे. उन्होंने यह भी उल्लेख किया कि पिछले कुछ वर्षों में केंद्र सरकार द्वारा आयुर्वेद को जनप्रिय बनाने के विशेष प्रयास किए गए हैं. वैद्य खड़ीवाले वैद्यकीय अनुसंधान संस्था द्वारा प्रदान किए जाने वाले पुरस्कार वितरण समारोह में वह बोल रही थी. हाल ही में यह कार्यक्रम एरंडवणे स्थित धन्वंतरि सभागार में हुआ.इस कार्यक्रम में सोलापुर के वैद्य प्रशांत बागेवाडिकर को ममहर्षि अण्णासाहेब पटवर्धन चिकित्सा पुरस्कारफ प्रदान किया गया. संस्था के कार्यकारी वेिशस्त वैद्य विनायक प. खडीवाले, पुरस्कार चयन समिति के अध्यक्ष वैद्य स. प्र. सरदेशमुख, सचिव वैद्य योगेश व. गोडबोले, वेिशस्त वैद्य संगीता खड़ीवाले, वैद्य निखिल खड़ीवाले, वैद्य विवेक साने, जयश्री तावरे आदि उपस्थित थे. कार्यक्रम के प्रारंभ में वैद्य विनायक खड़ीवाले ने कहा, यह पुरस्कार समारोह का 40वां वर्ष है. आयुर्वेद क्षेत्र में समाज के लिए सकारात्मक कार्य करने वाले व्यक्तियों को सम्मानित करने, उनके कार्यों को समाज तक पहुंचाने और अन्य लोगों को प्रेरित करने के उद्देश्य से वैद्य दादा खडीवाले ने इस पुरस्कार की शुरुआत की थी. वैद्य प्रशांत बागेवाडीकर समेत सभी सम्मानित वैद्यों ने अपने विचार व्यक्त किए. इस अवसर पर प्रो. डॉ. मेधा कुलकर्णी के हाथों श्रीकृष्ण चितले का अमृत महोत्सव के उपलक्ष्य में सत्कार किया गया. कार्यक्रम का संचालन वैद्य संगीता खडीवाले ने किया और आभार वैद्य विवेक साने ने व्यक्त किया. आयुर्वेद के अच्छे दिन आ गए हैं प्रो. डॉ. मेधा कुलकर्णी ने कहा, आयुर्वेद के अच्छे दिन आ गए हैं. वर्षों तक हमारी पारंपरिक ज्ञान शाखाओं की उपेक्षा की गई थी, जिससे प्राचीन शोध और अनुभवजन्य प्रयोग पीछे रह गए. अब स्थिति अनुकूल है, इसलिए आयुर्वे द विशेषज्ञों को अन्य चिकित्सा पद्धतियों के साथ सहयोग की संभावनाओं पर विचार करना चाहिए.
 
 
समारोह में अन्य प्रतिष्ठित पुरस्कार भी प्रदान
 
वैद्य पुरुषोत्तम शास्त्री नानल चरक पुरस्कार पुणे के वैद्य गुणवंत येवला, वैद्य द. वा. शेंडे रसौषधि पुरस्कार पुणे की वैद्या विशाखा बाकरे. वैद्य वि. म. गोगटे वनौषधि पुरस्कार नासिक की वैद्या अर्चना भास्करवार, वैद्य आचार्य यादवजी त्रिकमजी ग्रंथ पुरस्कार सांगली के वैद्य अनिरुद्ध कुलकर्णी और वैद्या अमृता जोशी, वैद्य बाळशास्त्री लावगणकर पंचकर्म पुरस्कार नागपुर के वैद्य सचिन चंडालिया, वैद्य बापूराव पटवर्धन सुश्रुत पुरस्कार वर्धा की वैद्या शीतल आसुटकर, वैद्य भा. गो. घाणेकर अध्यापन पुरस्कार गोवा की वैद्या अरुणा बाले, वैद्य मा. वा. कोल्हटकर अनुसंधान पुरस्कार मुंबई की वैद्या कल्पना धुरी, वैद्या लक्ष्मीबाई बोरवणकर स्त्री वैद्या पुरस्कार पुणे की वैद्या हेमलता जलगांवकर, वैद्य शंकर दाजीशास्त्री पदे कार्यकर्ता पुरस्कार पुणे के वैद्य मनीष जोशी, पूज्य पादाचार्य रचनात्मक कार्य पुरस्कार पुणे के वैद्य जय ताम्हाणे, डॉ. वा. द. वर्तक वनमित्र पुरस्कार रघुनाथ ढोले.