भाजपा के पूर्व नगरसेवक दत्ता खाड़े से सीआईडी ने की पूछताछ

22 Jan 2025 14:14:32
 
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पुणे, 21 जनवरी (आज का आनंद न्यूज नेटवर्क)

बीड़ के सरपंच संतोष देशमुख की हत्या मामले में गिरफ्तार किए गए वाल्मिक कराड को फर्ग्यूसन कॉलेज के पास एक इमारत में तीन ऑफिस खरीदने में मदद करने के संदेह में सीआईडी ने भाजपा के पूर्व नगरसेवक दत्ता खाड़े से पूछताछ की, जिससे हलचल मच गई है. इस मामले में दत्ता खाड़े ने बताया कि उन्होंने सीआईडी द्वारा पूछे गए सभी सवालों के उत्तर दिए हैं और उनका वाल्मिक कराड से कोई खास संबंध नहीं है, इसलिए उन्हें कोई परेशानी नहीं है. अगर सीआईडी ने फिर से पूछताछ के लिए बुलाया तो वह उपस्थित होंगे. बीड़ के सरपंच संतोष देशमुख की हत्या मामले में वाल्मिक कराड को सीआईडी ने गिरफ्तार किया है. जांच में यह खुलासा हुआ कि कराड़ के पास कई संपत्तियां हैं और उसकी पत्नी के नाम पर फर्ग्युसन कॉलेज के पास एक इमारत में तीन ऑफिस और दुकानें खरीदी गई हैं. इस संपत्ति खरीदने के लिए सीआईडी को संदेह है कि भाजपा के पूर्व नगरसेवक और स्थानीय नेता दत्ता खाडे ने मध्यस्थता की थी. इस संदेह के आधार पर सीआईडी ने खाड़े को नोटिस भेजकर बीड़ के केज तहसील में पूछताछ के लिए बुलाया था.दत्ता खाड़े से इस संदर्भ में बात की गई, तो उन्होंने कहा कि वह लगभग 40 साल से सार्वजनिक जीवन में हैं और पुणे मनपा में तीन बार नगरसेवक रहे हैं. उन्होंने कहा, मेरा संबंध गोपीनाथ मुंडे से था और उनके मार्गदर्शन में मैंने राजनीतिक जीवन में काम किया. जब गोपीनाथ मुंडे जीवित थे, तो मेरी वाल्मिक कराड से तीन से चार बार मुलाकात हुई थी, लेकिन उसके बाद कभी मुलाकात नहीं हुई और न ही फोन पर कोई संपर्क हुआ.सीआईडी के अधिकारियों ने केज में पूछताछ के लिए बुलाया. वहां पूछताछ के दौरान उन्होंने करीब 20 सवाल किए, जिनमें यह भी पूछा गया कि क्या आप वाल्मिक कराड के बेटे के शादी में शामिल हुए थे. इसके अलावा भी कई सवाल पूछे गए. इस मामले में संबंधित बिल्डर से अधिक जानकारी मिल सकती है कि किसका फोन आया था और कितने करोड़ का लेन-देन हुआ था. उन्होंने कहा कि उनका इस संपत्ति खरीदने के मामले से कोई संबंध नहीं है, और उनकी और वाल्मिक कराड की जाति एक ही है, इसलिए उन्हें इसमें फंसाने की कोशिश की जा रही है.  
 
 
 दो घंटे की पूछताछ के बाद छोड़ दिया

सभी सवालों का संतोषजनक उत्तर दिया और लगभग दो घंटे की पूछताछ के बाद सीआईडी के अधिकारियों ने उन्हें छोड़ दिया. उन्होंने कहा कि अगर फिर से पूछताछ के लिए बुलाया गया तो वह जाने के लिए तैयार हैं.दत्ता खाड़े ने यह भी बताया कि इस इलाके में नगरसेवक होने के कारण कई लोग शॉप या घर खरीदने के लिए उनसे सलाह लेते हैं ताकि उन्हें कुछ छूट मिल सके, लेकिन फर्ग्यूसन कॉलेज के पास ऑफिस खरीदने में उनसे कोई संपर्क नहीं किया गया था.
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