इम्पाेर्ट का बाेझ कम करने उद्याेग जगत सहयाेग दे

    14-Apr-2025
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रविवार काे केंद्रीय वाणिज्य एवं उद्याेगमंत्री पीयूष गाेयल ने ‘वाइब्रेंट बिल्डकाॅन’ कार्यक्रम में आह्वान करते हुए कहा - आयात (इम्पाेर्ट) का भार कम करने उद्याेग जगत काे अपना सहयाेग देना चाहिए. माेदी के नेतृत्व में देश में विकास का नया इतिहास बन रहा है. देश की अर्थव्यवस्था काे 35 लाख कराेड़ डाॅलर तक पहुंचाने अथक प्रयास की जरुरत है.केंद्रीय वाणिज्य एवं उद्याेगमंत्री पीयूष गाेयल ने रविवार काे कैपेक्सिल के वाइब्रेंट बिल्डकाॅन 2025 काे संबाेधित करते हुए उद्याेग जगत के हितधारकाें से स्थिरता में सर्वाेत्तम प्रथाओंकाे अपनाने, आयात निर्भरता काे कम करने, स्वच्छ और हरित निर्माण पर ध्यान केंद्रित करने तथा भूकंपराेधी और माॅड्यूलर बुनियादी ढांचे की दिशा में काम करने का आह्वान किया.
 
गाेयल ने निर्माण पारिस्थितिकी तंत्र में भारत की बढ़ती ताकत का उल्लेख करते हुए कहा कि यह ताकत वैश्विक क्षमता केंद्राें (जीसीसी) से लेकर मेक इन इंडिया के तहत घरेलू विनिर्माण के काम में दिख रही है. उन्हाेंने आवास, बुनियादी ढांचे, वाणिज्यिक अचल संपत्ति, रेलवे, हवाई अड्डाें, राजमार्गाें और ऊर्जा जैसे प्रमुख क्षेत्राें के महत्व पर भी प्रकाश डाला. उन्हाेंने कहा, सीमेंट और इलेक्ट्रिकल्स से लेकर सुरक्षा प्रणालियाें और स्वचालन तक हर तत्व इस पारिस्थितिकी तंत्र में एक भूमिका निभाता है.गाेयल ने कहा कि प्रधानमंत्री के नेतृत्व में तेजी से बुनियादी ढांचे का विकास हुआ है. उन्हाेंने कहा, प्रधानमंत्री माेदी ने भारत मंडपम और यशाेभूमि जैसे विश्वस्तरीय सम्मेलन केंद्राें की परिकल्पना की थी, दाेनाें ही महामारी के दाैरान बनाए गए थे. इन अत्याधुनिक स्थलाें ने जी20 शिखर सम्मेलन, भारतटेक्स, भारत माेबिलिटी और स्टार्टअप महाकुंभ जैसे वैश्विक कार्यक्रमाें की मेजबानी की है.